त्रिस्तरीय चुनाव में बीजेपी समर्थित प्रत्याशियों की हार: क्या ये कांग्रेस की वापसी के संकेत हैं?
त्रिस्तरीय चुनाव में बीजेपी समर्थित प्रत्याशियों की हार: क्या ये कांग्रेस की वापसी के संकेत हैं? त्रिस्तरीय पंचायत चुनाव या नगर निकाय चुनावों में जनता का जो मूड सामने आता है, वह अक्सर आने वाले विधानसभा चुनावों का ट्रेंड सेट करता है, पर यह सीधा और स्पष्ट संकेत नहीं होता, बल्कि नीति, स्थानीय नेतृत्व, और जनसरोकारों के प्रति एक जनमत होता है। 1. भाजपा समर्थित प्रत्याशियों की हार: कारण स्थानीय मुद्दों की अनदेखी (सड़क, पानी, रोजगार, पलायन) ग्राम पंचायत और नगर निकायों में बढ़ती असंतोषजनक कार्यप्रणाली महंगाई और बेरोजगारी का असर जनप्रतिनिधियों की पहुंच से बाहर होती कार्यशैली चुनाव में स्थानीय चेहरों को ज्यादा प्राथमिकता देने की मांग 2. क्या ये कांग्रेस की वापसी है? सावधानीपूर्वक हां और नहीं। कांग्रेस को इससे निश्चित रूप से मनोबल और राजनीतिक ऊर्जा मिलती है। लेकिन ये जीतें कांग्रेस के प्रति मोह से अधिक भाजपा के प्रति असंतोष को दर्शा रही हैं। कांग्रेस को यदि इसका लाभ 2027 में चाहिए, तो उसे: मजबूत संगठन खड़ा करना होगा स्थानीय कार्यकर्ताओं को निर्णयकारी भूमिका देनी होगी लगातार जनता के बीच रहकर, वैकल्...